राजस्थान / सरपंच और पंचों के लिए 707 ग्राम पंचायतों के लिए चुनाव कार्यक्रम की घोषणा, 15 मार्च को होगा मतदान

राजस्थान / सरपंच और पंचों के लिए 707 ग्राम पंचायतों के लिए चुनाव कार्यक्रम की घोषणा, 15 मार्च को होगा मतदान



राज्य निर्वाचन आयोग ने सरपंचों और पंचों के प्रथम चरण में सीलबंद कर सुरक्षित अभिरक्षा में रखे गए नाम निर्देशन पत्रों वाली करीब 17 जिलों में 707 ग्राम पंचायतों के लिए चुनाव कार्यक्रम की घोषणा कर दी। इन पंचायतों में 15 मार्च को सुबह 8 बजे से सायं 5 बजे तक मतदान करवाया जाएगा। इन पंचायतों में सरपंच पद का चुनाव ईवीएम मशीन और पंच पद का चुनाव मतपत्र से कराया जाएगा।


चुनाव आयुक्त पीएस मेहरा ने बताया कि इन चुनावों के लिए 14 मार्च को मतदान दलों की रवानगी हो जाएगी। मतदान के तुरंत बाद ही मतगणना करवाई जाएगी। इन सभी पंचायतों पर 16 मार्च को उपसरपंच का चुनाव करवाया जाएगा। उन्होंने बताया कि 1119 ग्राम पंचायतों में से 707 ऐसी ग्राम पंचायत हैं जो कि पंचायत राज विभाग की पुनर्गठन की अधिसूचना दिनांक 15-16 नवंबर के बाद जारी अधिसूचनाओं से अप्रभावित है और इन पदों का आरक्षण भी पूर्वानुसार है। इन पर दोबारा आरक्षण से इनमें कोई परिवर्तन नहीं हुआ है।


*शेष बची 412 ग्राम पंचायतों के चुनाव की अभी तारीख निश्चित नहीं*
मेहरा ने बताया कि इन ग्राम पंचायतों के सरपंच एवं पंच पद के निर्वाचन को पूर्ण करने में अब कोई विधिक अड़चन नहीं हैं। अतः इनकी चुनाव प्रक्रिया को पूर्ण करने का आयोग द्वारा निर्णय लिया गया है। उन्होंने बताया कि शेष बची 412 ग्राम पंचायतें ऐसी हैं, जो पुनर्गठन से प्रभावित हैं या पूर्व के जाति या वर्ग के अनुसार आरक्षित नहीं रह गई हैं। उनके लिए कार्यक्रम को आगे बढ़ाना संभव नहीं था। उन पंचायतों के लिए जारी की गई लोकचूसना को वापस लिए जाने का निर्णय लिया गया है।


गौरतलब है कि पंचायतीराज विभाग द्वारा आरक्षण अंतिम किए जाने के बाद पंचायती राज संस्थाओं के पंच एवं सरपंच के चुनाव कराने के लिए आयोग ने 26 दिसंबर, 2019 को तीन चरणों का और शेष रही पंचायतों के लिए 4 जनवरी को चौथे चरण का कार्यक्रम जारी किया गया। प्रथम चरण में शामिल ग्राम पंचायतों के सरपंच एव पंच के लिए लोक सूचना जारी कर नाम निर्देशन पत्र प्राप्त किए गए। नाम निर्देशन पत्रों की संवीक्षा, वापसी, एवं चुनाव लड़ने वाले अभ्यर्थियों की सूची का प्रकाशन कर उन्हें चुनाव चिन्ह आवंटन का कार्य भी पूर्ण कर लिया गया था।


*कानूनी प्रक्रियाओं के बीच उलझ गया था चुनाव*
उच्च न्यायालय के निर्णय पर 13 दिसंबर 2019 के विरूद्व राज्य सरकार द्वारा विशेष अनुमति याचिका उच्चतम न्यायालय में प्रस्तुत की गई। इस याचिका में पारित आदेश के द्वारा 8 जनवरी 2020 को माननीय उच्च न्यायालय के निर्णय की क्रियान्विति को स्थगित कर दिया गया। इस स्थगन आदेश को देखते हुए आयोग द्वारा संदर्भित पत्र 9 जनवरी 2020 के द्वारा चुनाव कार्यक्रम में सम्मिलित ग्राम पंचायतों की सूची को संशोधित करते हुए राज्य सरकार द्वारा 15-16 दिसंबर 2019 के बाद की परिसीमन संबंधी अधिसूचनाओं से प्रभावित ग्राम पंचायतों के सरपंच एवं पंच पदों के लिए प्राप्त नामनिर्देशन पत्रों को सीलबंद कर सुरक्षित अभिरक्षा में रखने के निर्देश प्रदान किए गए थे।


उक्त आदेश के क्रम में 1119 ग्राम पंचायतों के पंच एवं सरपंच पदों के नाम निर्देशन पत्र एवं निर्वाचन संबंधी दस्तावेजों को सुरक्षित अभिरक्षा में रखा गया था। आयोग की घोषणा के साथ ही संबंधित ग्राम पंचायतों में आदर्श आचरण संहिता के प्रावधान प्रभावी हो जाएंगे। इन सभी 707 ग्राम पंचायतों, जिनका चुनाव कार्यक्रम घोषित किया गया है और ऐसी 412 पंचायतें जिनका चुनाव निरस्त कर दिया गया है 


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