शिवसेना (Shiv Sena) ने नागरिकता संशोधन बिल (Citizenship Amendment Bill) का विरोध किया है. शिवसेना ने कहा है कि है इस बिल के जरिए बीजेपी हिंदू मुसलमान के बीच अदृश्य बंटवारे की कोशिश कर रही है. 

शिवसेना (Shiv Sena) ने नागरिकता संशोधन बिल (Citizenship Amendment Bill) का विरोध किया है. शिवसेना ने कहा है कि है इस बिल के जरिए बीजेपी हिंदू मुसलमान के बीच अदृश्य बंटवारे की कोशिश कर रही है.


बता दें केंद्रीय गृहमंत्री अमित शाह (Amit Shah) सोमवार को लोकसभा (Lok Sabha) में नागरिकता संशोधन विधेयक (Citizenship Amendment Bill) पेश करने वाले हैं. राजनीतिक रूप से संवेदनशील इस विधेयक को लेकर विपक्ष की ओर से विरोध के स्वर उठ रहे हैं.


केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पिछले बुधवार को इस विधेयक को मंजूरी दी थी. मंत्रिमंडल की बैठक के बाद पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए सूचना एवं प्रसारण मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने कहा कि नागरिकता संशोधन विधेयक में भारत के हितों को ध्यान में रखा जाएगा. उन्होंने कहा, "मुझे विश्वास है कि जब विधेयक के प्रावधानों की घोषणा होगी तो असम समेत पूर्वोत्तर और संपूर्ण भारत में इसका स्वागत किया जाएगा."


विपक्ष कर रहा है विरोध
पाकिस्तान, अफगानिस्तान और बंग्लादेश में उत्पीड़न के कारण वहां से भागकर आए हिंदू, ईसाई, सिख, पारसी, जैन और बौद्ध धर्मावलंबियों को नागरिकता संशोधन विधेयक 2019 के तहत भारत की नागरिकता प्रदान की जाएगी.


इस विधेयक का विपक्ष ने पहले ही विरोध किया है. कांग्रेस ने इसे असंवैधानिक करार दिया है. विधेयक में मुस्लिम को छोड़ देने को लेकर अल्पसंख्यक गुटों ने भी इसका विरोध किया है. 


मार्क्‍सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) ने रविवार को एक प्रेसवार्ता के दौरान ऐलान किया कि वह प्रस्तावित विधेयक में दो संशोधन का प्रस्ताव पेश करेगी.